संवाददाता सार्थक नायक
गुरसरांय (झांसी)।बेतवा कैनाल प्रखण्ड झांसी के अधिशासी अभियंता से लेकर सहायक अभियंता किसानों की पानी की की समस्या को लेकर पूरी तरह लापरवाही और गैर जिम्मेदारान रवैया बनाए हुए हैं जिसके चलते किसानों को हर कीमत में 10 अक्टूबर को नहर द्वारा पानी किसानों को पलावा तथा मूंगफली खुदाई के लिए मिल जाना चाहिए था इसको लेकर क्षेत्र के किसानों ने क्षेत्रीय विधायक गरौठा जवाहरलाल राजपूत को ज्ञापन देकर नहर खुलवाने की मांग की थी जिस पर गरौठा विधायक ने किसानों की अत्यंत गंभीर समस्या को देखते हुए अधिशासी अभियंता बेतवा प्रखण्ड झांसी को पत्र लिखकर 10 अक्टूबर से नहर खोले जाने की मांग की थी विधायक गरौठा जवाहरलाल राजपूत ने अपने पत्र में स्पष्ट लिखा था कि वर्तमान में गुरसरांय क्षेत्र में पानी की कम वर्षा होने के चलते यहां के किसानों की हालत बहुत खराब है और हर कीमत पर 10 अक्टूबर को नहर खोली जाए आज जब मीडिया के लोगों ने अधिशासी अभियंता प्रखण्ड झांसी से फोन पर नहर कब से चलेगी की जानकारी की तो उन्होंने साफ कहा की अभी नहर की सफाई हो रही है।और सफाई होने के बाद ही नहर खोले जाने की जानकारी दे सकते हैं और हो सकता है 15/16 अक्टूबर तक नहर खोली जाए इससे स्पष्ट होता है कि जिला प्रशासन से लेकर उत्तर प्रदेश शासन ने नहर की सफाई और रखरखाव के लिए समय से काम करने के निर्देश दिए थे लेकिन बेतवा उपखण्ड गुरसरांय के सहायक अभियंता से लेकर और अवर अभियंता तथा अधिशासी अभियंता ने समय रहते नहरों का न तो निरीक्षण किया और ना ही सफाई व्यवस्था आदि काम कराऐ जिसके चलते पूरा सिस्टम नहर विभाग का गड़बड़ा गया है और किसानों को समय से पानी मिलाना मुनासिब नहीं है और किसान बुरी तरह पानी के लिए छटपटा रहा है दूसरी ओर गुरसरांय उपखण्ड तृतीय कार्यालय तैनात स्थल पर सहायक अभियंता से लेकर कोई भी अवर अभियंता या जिम्मेदार व्यक्ति नहीं रहता है आखिर किसान किसके पास अपनी समस्या को लेकर जाए बेतवा उपखण्ड कार्यालय परिसर गुरसरांय की हालत इतनी खराब है कि यहां निर्माण हो रही बाउंड्रीवॉल से लेकर कार्यालय भवनों की निर्माण अधीन कामों की देखरेख करने वाला कोई नहीं है जिस कार्य की गुणवत्ता से लेकर कार्य अबधि को लेकर सवाल उठ रहे हैं लेकिन सहायक अभियंता और अधिशासी अभियंता अपनी ऊंची पकड़ के चलते अपनी मनमर्जी पर चल रहे हैं जिसका खामियाजा किसानों और सरकार को भोगना पड़ रहा है क्षेत्र के किसानों ने जिला प्रशासन से लेकर उत्तर प्रदेश शासन और जनप्रतिनिधियों से इस संबंध में जल्द से जल्द बड़ी कार्यवाही की मांग की है।